*पुष्पा अग्रवाल तीजा महारानी का खिताब पुष्पा
अग्रवाल और हेमलता मित्तल, तीजा रानी की उपाधि उषा कलानौरिता और भगवती अग्रवाल को दी गई*
अंतराष्ट्रीय अग्रवाल सम्मेलन महिला इकाई छत्तीसगढ़ प्रांत द्वारा सावन माह के शुक्ल पक्ष को तीज को ऑनलाइन ऑफलाइन दोनो हर्षोल्लास से मनाया गया।
कार्यक्रम का संचालन डॉ अनीता अग्रवाल अध्यक्ष ने करते हुए सभी का डिजिटल स्वागत किया सभी को तीज की बधाईयां दी।
*उन्होंने बताया* ये दिन कुआरी लड़कियों और शादी शुदा महिलाओं के लिए विशेष दिन रहता है। कुंवारी लड़कियों मन चाह घर और वर के लिए और महिलाएं अपने पति की लम्बी उम्र के साथ ही पति के निरोगी रहने के लिए एवम पुत्र प्राप्ति की मंशा से इस व्रत को करती हैं। मान्यता है कि इस व्रत को करने से घर में सुख समृद्धि का निवास रहता है।
पहले दिन हाथ पैर में मेंहदी लगाई जाती है और विविध प्रकार के व्यांजन बना सिंधारा मनाया जाता है तीज के दिन सभी सुहागिन ब्रह्म मुहूर्त में स्नान के बाद मायके से आए कपड़े धारण कर सोलह श्रृंगार करके दुल्हन जैसे तैयार हो शुभ मुहूर्त पर एक चौकी में माता पार्वती के साथ भगवान शिव और गणेश जी की प्रतिमा स्थापित करें।
मां पार्वती को 16 श्रृंगार की सामग्री अर्पित करने के बाद भगवान शिव को भी बेल पत्र, श्वेत फूल,भांग, धतूरा, अक्षत्, गंधक, धूप, वस्त्र आदि चढ़ाएं। गणेश जी की पूजा करने के बाद हरियाली तीज की कथा सुनती है,पूजा के अंत में भगवान शिव और माता पार्वती की आरती करते हुए हाथ जोड़कर अपने पति की लम्बी उम्र की मनोकामना करें साथ ही सुख समृद्धि के लिए भी प्रार्थना । यह त्योहार भगवान शिव और माता पार्वती के पुनर्मिलन के उपलक्ष्य में मनाया जाता है। *बायना* मिठाई और रुपए रख निकलती है और सासु मां, जीठानी को चरण स्पर्श कर देती है। वे उन्हें आशीर्वाद देते है।
खीर पूरी और कई प्रकार के व्यंजन बनाए जाते है सभी मिल उसे खाते है फिर झूला झूलने अपनी बहन ननद सहेलियों के साथ बगीचे जाते हैं या घर में भी झूला लगाते है सभी *हसी खुशी झूल मस्ती मौज कई गेम्सखेलें गए बैलून दौड़, अंताक्षरी, कई फन गेम्स खेलते हुए फुल एंजॉय किया* गया।
*कार्यक्रम का श्री गणेश* हेमलता मित्तल ने भजन द्वारा करते हुए तीज का महत्व बताया। उषा कलानौरिया, भगवती अग्रवाल, पुष्पा अग्रवाल ने भजन, सावन गीत गा मस्ती हसी ठिठोली की गई *पुष्पा अग्रवाल तीजा महारानी का खिताब पुष्पा अग्रवाल और हेमलता मित्तल, तीजा रानी की उपाधि उषा कलानौरिता और भगवती अग्रवाल को दिया गया*
आभार प्रदर्शन कर विश्व कल्याण की भावना से शांति पाठ द्वारा कार्यक्रम समापन किया गया।
