अंतराष्ट्रीय अग्रवाल सम्मेलन महिला इकाई छत्तीसगढ़ प्रांत द्वारा 18/12/2021 शनिवार को गूगल *अंतर्राष्ट्रीय प्रवासी दिवस,वरदान दिवस, मंगसीर पूर्णिमा, गुरु घासीदास जयंती,जोसेफ ग्रीमाल्डी जन्म तिथि, जोसेफ स्टालीन जन्म तिथि, भिखारी ठाकुर जन्म तिथि* पर आयोजित ऑनलाइन कार्यक्रम।

अंतराष्ट्रीय अग्रवाल सम्मेलन महिला इकाई छत्तीसगढ़ प्रांत द्वारा विगत दस माह से प्रतिदिन आयोजित कार्यक्रम की श्रृंखला में18/12/2021 शनिवार को गूगल *अंतर्राष्ट्रीय प्रवासी दिवस,वरदान दिवस, मंगसीर पूर्णिमा, गुरु घासीदास जयंती,जोसेफ ग्रीमाल्डी जन्म तिथि, जोसेफ स्टालीन जन्म तिथि, भिखारी ठाकुर जन्म तिथि* पर आयोजित ऑनलाइन कार्यक्रम।

कार्यक्रम का संचालन अंबिकापुर इकाई की अध्यक्षा *प्रेमलता गोयल* ने करते हुए कार्यक्रम का श्री गणेश अपने निवास स्थान पर लक्ष्मी मां, गणेश भगवान के फोटो पर रोली अक्षत का तिलक लगा, माल्यार्पण, दीप प्रज्वलित, पूजा अर्चना आरती आराधना कर गणेश वंदना और पितरों जी की स्तुति से किया।

रायपुर इकाई की अध्यक्षा *पुष्पा अग्रवाल* ने सभी अतिथियों को तिलक लगा श्री फल और मनी प्लांट का पौधा भेट कर स्वागत किया।उनका संक्षिप्त जीवन परिचय दे उन्हे उनके उद्बोधन के लिए बारी बारी से डिजिटल मंच पर आमंत्रित किया।

सरिया इकाई की अध्यक्षा *डिंपल अग्रवाल* ने कार्यक्रम आध्यात्मिक सत्र का आयोजन कर सतसंग और सामूहिक कीर्तन करवाया।उन्होंने हनुमान चालीसा, बजरंग बाण का पाठ कर भजन प्रस्तुत किया।

कार्यक्रम की अध्यक्ष *डॉ अनीता अग्रवाल* ने *वरदान दिवस* पर अपनी अभिव्यक्ति में बताया महाराजा अग्रसेन के समक्ष महालक्ष्मी का प्राकट्य और वरदान देना ही अग्रवंश में वरदान दिवस नाम से मनाया जाता है। माता लक्ष्मी की कृपा से राजा अग्रसेन ने अपने आस-पास आबाद 17 अन्य गणों को संगठित कर एक विशाल राज्य का निर्माण किया जो इनके नाम पर अग्रोहा गणराज्य कहलाया *उन्होंने सभी अग्र वंशियो को वरदान दिवस की हार्दिक बधाईयां* प्रेषित की।

मुख्य अतिथि *नंदिनी चौधरी सिंगापुर* ने *गुरु घासी दास जयंती* पर अपने उद्बोधन में बताया गुरू घासीदास ग्राम गिरौदपुरी तहसिल कसडोल जिला बलौदाबाजार में पिता महंगुदास जी एवं माता अमरौतिन के यहाँ अवतरित हुये थे गुरू घासीदास जी सतनाम धर्म जिसे आम बोल चाल में सतनामी समाज कहा जाता है , के प्रवर्तक है । गुरूजी भंडारपुरी को अपना धार्मिक स्थल के रूप में संत समाज को प्रमाणित सत्य के शक्ति के साथ दिये वहाँ गुरूजी के वंशज आज भी निवासरत है। उन्होंने अपने समय की सामाजिक आर्थिक विषमता, शोषण तथा जातिवाद को समाप्त करके मानव-मानव एक समान का संदेश दिये। इनसे समाज के लोग बहुत ही प्रभावित रहे हैं।

विशिष्ट अतिथि *कीर्ति अग्रवाल* ने *अंतर्राष्ट्रीय प्रवासी दिवस* अपनी अभिव्यक्ति में बताया अंतर्राष्ट्रीय प्रवासी दिवस को लाखों प्रवासियों द्वारा अपने मेजबान और घरेलू देशों की अर्थव्यवस्था में किए गए योगदान को पहचानने के अवसर के रूप में देखा जाता है, जो उनके बुनियादी मानवाधिकारों के सम्मान को बढ़ावा देता है।प्रत्येक वर्ष 18 दिसंबर को, संयुक्त राष्ट्र, संयुक्त राष्ट्र से संबंधित एजेंसी इंटरनेशनल ऑर्गनाइजेशन फॉर माइग्रेशन के माध्यम से, लगभग 272 मिलियन प्रवासियों द्वारा किए गए योगदान को उजागर करने के लिए अंतर्राष्ट्रीय प्रवासी दिवस का उपयोग करता है, जिसमें 41 मिलियन से अधिक आंतरिक रूप से विस्थापित व्यक्ति शामिल हैं और उनके सामने आने वाली चुनौतियाँ। आईओएम के लगभग 500 देश कार्यालयों और उप-कार्यालयों के साथ-साथ सरकारी, अंतरराष्ट्रीय और घरेलू नागरिक समाज भागीदारों द्वारा आयोजित कार्यक्रमों द्वारा समर्थित यह वैश्विक कार्यक्रम प्रवासन विषयों की एक विस्तृत श्रृंखला की जांच करता है, सामाजिक एकजुटता, गरिमा, शोषण, प्रवास के लिए वकालत करने के लिए एकजुटता निर्देशित इस सिद्धांत से कि मानवीय और व्यवस्थित प्रवासन से प्रवासियों और समाज को लाभ होता है।

विशिष्ट अतिथि *राखी अग्रवाल* ने *जोसेफ ग्रिमाल्डी जन्म तिथि* पर अपनी अभिव्यक्ति में बताया जोसेफ ग्रिमाल्डी एक अंग्रेजी अभिनेता, हास्य अभिनेता और नर्तक थे, जो रीजेंसी युग के सबसे लोकप्रिय अंग्रेजी मनोरंजनकर्ता बन गए । 1800 के दशक की शुरुआत में, उन्होंने हार्लेक्विनेड में जोकर की भूमिका का विस्तार किया, जो ब्रिटिश पैंटोमाइम्स का हिस्सा था , विशेष रूप से थिएटर रॉयल, ड्यूरी लेन और सैडलर वेल्स और कोवेंट गार्डन थिएटर में। वह लंदन के हास्य मंच पर इतना प्रभावशाली हो गया कि जोकर की हरलेक्विनेड भूमिका “जॉय” के रूप में जानी जाने लगी , और उपनाम और ग्रिमाल्डी का व्हाइटफेस दोनोंअन्य प्रकार के जोकरों द्वारा मेकअप डिज़ाइन का उपयोग किया जाता था, और अब भी किया जाता है। ग्रिमाल्डी ने “हियर वी आर अगेन!” जैसे वाक्यांशों की उत्पत्ति की, जो आधुनिक पैंटोमाइम्स में प्रदर्शित होते रहते हैं।

विशिष्ट अतिथि *सुशीला अग्रवाल कोलकाता* ने *जोसेफ विसारियोनोविच स्टालिन जन्म तिथि* पर अपनी अभिव्यक्ति में बताया जोसेफ विसारियोनोविच स्टालिन एक जॉर्जियाई क्रांतिकारी और सोवियत राजनीतिक नेता थे जिन्होंने 1924 से 1953 में अपनी मृत्यु तक सोवियत संघ पर शासन किया। उन्होंने दोनों के रूप में सत्ता संभाली सोवियत संघ की कम्युनिस्ट पार्टी के महासचिव और सोवियत संघ के मंत्रिपरिषद के अध्यक्ष सामूहिक नेतृत्व के हिस्से के रूप में शुरू में देश पर शासन करने के बावजूद , उन्होंने अंततः 1930 के दशक तक सोवियत संघ के तानाशाह बनने के लिए सत्ता को समेकित किया। एक कम्युनिस्टमार्क्सवाद की लेनिनवादी व्याख्या के लिए वैचारिक रूप से प्रतिबद्ध , स्टालिन ने इन विचारों को मार्क्सवाद-लेनिनवाद के रूप में औपचारिक रूप दिया, जबकि उनकी अपनी नीतियों को स्टालिनवाद के रूप में जाना जाता है

विशिष्ट अतिथि *रंजना गर्ग गांधीग्राम* ने *भिखारी ठाकुर जन्म तिथि* पर अपनी अभिव्यक्ति में बताया भिखारी ठाकुर भोजपुरी के समर्थ लोक कलाकार, रंगकर्मी लोक जागरण के सन्देश वाहक, लोक गीत तथा भजन कीर्तन के अनन्य साधक थे। वे बहु आयामी प्रतिभा के व्यक्ति थे। वे भोजपुरी गीतों एवं नाटकों की रचना एवं अपने सामाजिक कार्यों के लिये प्रसिद्ध हैं। वे एक महान लोक कलाकार थे जिन्हें ‘भोजपुरी का शेक्शपीयर’ कहा जाता है।

विशिष्ट अतिथि *विजया डालमिया हैदराबाद* ने *पदुमलाल पुन्नालाल बख्शी* अपनी अभिव्यक्ति में बताया डॉ॰ पदुमलाल पुन्नालाल बख्शी जिन्हें ‘मास्टरजी’ के नाम से भी जाना जाता है, हिंदी के निबंधकार थे। वे राजनांदगांव की हिंदी त्रिवेणी की तीन धाराओं में से एक हैं। राजनांदगांव के त्रिवेणी परिसर में इनके सम्मान में मूर्तियों की स्थापना की गई है।

कोरबा इकाई की अध्यक्षा *भगवती अग्रवाल* ने मंगसीर माह की पूर्णिमा का महात्म बता पौराणिक सत्य नारायण स्वामी की कथा सुनाई।उन्होंने भजन प्रस्तुति पेश की।

बाराद्वार इकाई की अध्यक्षा *उषा कलानोरिया* ने शनिवार का महात्म बता शनि भगवान के कई प्रसंग बता, भजन सुना सामूहिक कीर्तन करवाया।

वरिष्ट सदस्य *सुलोचना धनावत* ने एकता का महत्व और सेवा समर्पण पर कहानी सुना सभी को एकजुट रहने के लिए प्रेरित किया।

बिलासपुर इकाई की अध्यक्षा *शीतल लाठ* ने आज के मुख्य समाचार पर प्रकाश डाला।

*गिरिजा गोयल* ने सभी अतिथियों को स्मृति चिह्न भेट कर सम्मानित किया। सभी सदस्यों को उनकी उपस्तिथि अभिव्यक्ति और भजन प्रस्तुति के लिए धन्यवाद ज्ञापित कर विश्व कल्याण की भावना से शांति पाठ द्वारा कार्यक्रम का विधिवत समापन किया।

*सम्मेलन के सभी* भगवती अग्रवाल, डिंपल अग्रवाल, गिरिजा गोयल, उषा कलानौरिया,निशा गोयल, नंदिनी चौधरी, पुष्पा अग्रवाल, रखी गर्ग, रेखा गर्ग,सीमा गुप्ता,विजया डालमिया,रंजना गर्ग,मंजू गोयल, राखी, ने भजन प्रस्तुति से भक्तिमय वातावरण बना सभी सदस्यों को झूमने गाने के लिए प्रेरित किया। अपनी अपनी अभिव्यक्ति और भजन प्रस्तुति से कार्यक्रम को सफल बनाया।