पुष्पा अग्रवाल,देवांश गोयल, अनाया गोयल ने बलराम जी का वेश धारण कर अपनी प्रस्तुति के साथ मनाया बलराम जयंती
हलषष्ठी की पूजा अर्चना आराधना विधि विधान से मनाया
अंतराष्ट्रीय अग्रवाल सम्मेलन महिला इकाई छत्तीसगढ़ प्रांत द्वारा विगत साढ़े अठारह माह से प्रतिदिन आयोजित वर्चुअल कार्यक्रम की श्रृंखला में 17/8/2022 बुद्धवार को चतुर्मास, भादो मावस, हलषष्टी, बलराम जयंती, इंडोनेशिया स्वतंत्रता दिवस, साहित्य जगत् में उपन्यासकार अमृतलाल नागर, अंगोलाई राजनीतिज्ञ अगस्टीन्हो नीटो, भारतीय रिज़र्व बैंक के इक्कीसवें गवर्नर वॉय. वी. रेड्डी, भारतीय रिज़र्व बैंक के बीसवें गवर्नर बिमल जालान, सैयद अब्दुल रहीम फुटबॉल जादूगर, अमृतलाल नागर उपन्यासकार की जन्म तिथि और महान् स्वतंत्रता प्रेमी व क्रांतिकारी पुलिन बिहारी दास, महान् देशभक्त, धर्मनिष्ठ क्रांतिकारी मदनलाल ढींगरा, दशरथ मांझी माउंटेन मेन, प्रसिद्ध साहित्यकार फ़ादर कामिल बुल्के की पुण्य तिथि पर आयोजित ऑनलाइन कार्यक्रम।
कार्यक्रम का श्री गणेश डॉ अनीता अग्रवाल अध्यक्ष ने अपने निज निवास पर भगवान के छाया चित्र पर रोली अक्षत का तिलक लगा, पुष्पार्पण, माल्यार्पण कर मंत्रोचार से दीप प्रज्वलित कर राष्ट्रगान गाकर किया। अपने आतिथ्य उद्बोधन में उन्होंने सभी अतिथियों और उपस्थित सदस्यो का स्वागत कर बलराम जयंती, दाऊ जयंती और हलषष्टी की हार्दिक शुभकामनाएं बधाई प्रेषित की।
अंशु अग्रवाल ने गणेश वंदना, मधु मित्तल ने पितरों जी की स्तुति, पूजा अग्रवाल ने गुरु वंदना प्रस्तुति दी।
लीला देई ने मंत्र पढ़ संपूर्ण विश्व की मंगल कामना की। निशा गोयल और राजकुमारी गुप्ता ने हलषष्टी की कहानी सुनाई कीर्ति अग्रवाल ने गणेश जी की कथा सुनाई।
उषा कलानोरिया अध्यक्ष बारादवार इकाई ने कार्यक्रम का संचालन करते हुए सभी को बारी बारी से उन्हें उनके उद्बोधन अभिव्यक्ति प्रस्तुति के लिए आमंत्रित किया।
*गणेश बंदना अंशु अग्रवाल पितर बंदना मधु मित्तल गुरु वंदना पूजा अग्रवाल ने किया।
हलषष्ठी की कहानी निशा गोयल राजकुमारी गुप्ता ने बहनों को सुनाई कीर्ति अग्रवाल ने गणेश भगवान की कथा सुनाई। उसके बाद बलराम जयंती के उपलक्ष में *बलराम बनो प्रतियोगिता* रखी गई थी इसमें पुष्पा अग्रवाल देवांश गोयल अनाया गोयल ने बलराम जी का वेश धारण कर अपनी प्रस्तुति दी इसके बाद मंच में भजन का कार्यक्रम रखा गया था पार्वती अग्रवाल लक्ष्मी अग्रवाल तारा बेरीवाल सविता अग्रवाल उपमा अग्रवाल मधु मित्तल लाली देवी गिरिजा गोयल ने भजन प्रस्तुति दी
कार्यक्रम अध्यक्ष नंदिनी चौधरी सिंगापुर ने अपनी अभिव्यक्ति में बताया मदनलाल ढींगरा (१८ सितंबर १८८३ — १७ अगस्त १९०९) भारतीय स्वतन्त्रता संग्राम के अप्रतिम क्रान्तिकारी थे। भारतीय स्वतंत्रता की चिनगारी को अग्नि में बदलने का श्रेय महान शहीद मदन लाल धींगरा को ही जाता है । भले ही मदन लाल ढींगरा के परिवार में राष्ट्रभक्ति की कोई ऐसी परंपरा नहीं थी किंतु वह खुद से ही देश भक्ति के रंग में रंगे गए थे । वे इंग्लैण्ड में अध्ययन कर रहे थे जहाँ उन्होने विलियम हट कर्जन वायली नामक एक ब्रिटिश अधिकारी की गोली मारकर हत्या कर दी। कर्जन वायली की हत्या के आरोप में उन पर 23 जुलाई, 1909 का अभियोग चलाया गया । मदन लाल ढींगरा ने अदालत में खुले शब्दों में कहा कि “मुझे गर्व है कि मैं अपना जीवन समर्पित कर रहा हूं।” यह घटना बीसवीं शताब्दी में भारतीय स्वतन्त्रता आन्दोलन की कुछेक प्रथम घटनाओं में से एक है।
विशिष्ट अतिथि रंजना गर्ग गुजरात ने अपनी अभिव्यक्ति में बताया अब्दुल रहीम (17 अगस्त 1909 से 11 जून 1963) भारतीय फुटबॉल के कोच और भारत राष्ट्रीय फुटबॉल टीम के प्रबंधक थे। मूल रूप से पेशे से शिक्षक, वे एक अच्छे प्रेरक थे और कोच के रूप में उनका कार्यकाल भारत में फुटबॉल के “स्वर्ण युग” के रूप में माना जाता है। उन्होंने भारतीय टीम की अगुवाई में 1956 ग्रीष्मकालीन ओलंपिक में 1956 मेलबोर्न ओलंपिक फुटबॉल टूर्नामेंट सेमीफाइनल में प्रवेश किया और वें स्थान हासिल करने वाले भारत के पहले एशियाई देश बन गए।
विशिष्ट अतिथि पूजा अग्रवाल बैंगलोर ने अपनी अभिव्यक्ति में बताया अमृतलाल नागर (17 अगस्त, 1916 – 23 फरवरी, 1990) हिन्दी के सुप्रसिद्ध साहित्यकार थे। उन्हें भारत सरकार द्वारा १९८१ में साहित्य एवं शिक्षा के क्षेत्र में पद्म भूषण से सम्मानित किया गया था।
मुख्य अतिथि पार्बती अग्रवाल लाऊ मुंडा उड़ीसा ने अपनी अभिव्यक्ति में बताया बिमल जालान भूतपूर्व राज्यसभा सांसद व भारतीय रिज़र्व बैंक के गवर्नर हैं। वे 22-11-1997 से 06-09-2003 भारतीय रिजर्व बैंक के गवर्नर रहे।
विशिष्ट अतिथि सबिता अग्रवाल सन पुर ओडिसा ने अपनी अभिव्यक्ति में डॉ. यागा वेणुगोपाल रेड्डी जिन्हें वाई वी रेड्डी नाम से जाना जाता है, (जन्म 17 अगस्त 1941) जो आंध्र प्रदेश कैडर से संबंधित 1964 बैच के सेवानिवृत्त भारतीय प्रशासनिक सेवा (आईएएस) अधिकारी हैं। रेड्डी ने 6 सितंबर 2003 से 5 सितंबर 2008 तक भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) (भारत का केंद्रीय बैंक) के गवर्नर के रूप में कार्य किया था। 2010 में, उन्हें भारत का दूसरा सर्वोच्च नागरिक सम्मान, पद्म विभूषण से सम्मानित किया गया था।
पुष्पा रातेरिया ने अपनी अभिव्यक्ति में बताया दशरथ माँझी (जन्म: 14 जनवरी 1929[1]– 17 अगस्त 2007) जिन्हें “माउंटेन मैन”के रूप में भी जाना जाता है, बिहार में गया के करीब गहलौर गाँव के एक गरीब मजदूर थे। केवल एक हथौड़ा और छेनी लेकर इन्होंने अकेले ही 360 फुट लंबी 30 फुट चौड़ी और 25 फुट ऊँचे पहाड़ को काट के एक सड़क बना डाली। 22 वर्षों परिश्रम के बाद, दशरथ के बनायी सड़क ने अतरी और वजीरगंज ब्लाक की दूरी को 55 किमी से 15 किलोमीटर कर दिया।
रजनी जिंदल ने अपनी अभिव्यक्ति में बताया फादर कामिल बुल्के ( 1 सितंबर 1909 – 17 अगस्त 1982) बेल्जियम से भारत आये एक मिशनरी थे। भारत आकर मृत्युपर्यन्त हिंदी, तुलसी और वाल्मीकि के भक्त रहे। वे कहते थे कि संस्कृत महारानी है, हिन्दी बहूरानी और अंग्रेजी को नौकरानी। इन्हें साहित्य एवं शिक्षा के क्षेत्र में भारत सरकार द्वारा सन 1974 में पद्म भूषण से सम्मानित किया गया।
सुलोचना अग्रवाल ने अपनी अभिव्यक्ति में बताया पुलिनबिहारी दास (24 जनवरी 1877 – 17 अगस्त 1949) भारत के महान स्वतंत्रता प्रेमी व क्रांतिकारी थे। उन्होंने भारत की स्वतंत्रता के लिए “ढाका अनुशीलन समिति” नामक क्रांतिकारी संगठन की स्थापना की व अनेक क्रांतिकारी घटनाओं को अंजाम दिया।
पुष्पा अग्रवाल अध्यक्ष रायपुर इकाई प्रांतीय उपाध्यक्ष ने अपनी अभिव्यक्ति में बताया पंडित जसराज भारतीय शास्त्रीय संगीत के विश्व विख्यात गायक है। हमारे देश में शास्त्रीय संगीत कला सदियों से चली आ रही है। इस कला को न केवल मनोरंजन का, बल्कि ईश्वर से जुड़ने का एक महत्त्वपूर्ण स्रोत भी माना गया है। ऐसे ही एक आवाज़ जिन्होंने सिर्फ 3 वर्ष की छोटी आयु में कठोर वास्तविकताओं की इस ठंडी दुनिया में अपने दिवंगत पिता से विरासत के रूप में मिले और केवल सात स्वरों के साथ क़दम रखा, आज वही सात स्वर उनकी प्रतिभा का इन्द्रधनुष बनकर विश्व-जगत में उन्हें प्रसिद्धि दिला रहे हैं।
कीर्ति अग्रवाल ने अपनी अभिव्यक्ति में आज के दिन ही हवाई द्वीप में 1858 को पहला बैंक खोला गया था, पहली अंतरराष्ट्रीय नौकायन प्रतियोगिता लंदन की टेम्स नदी पर 1869 को आयोजित हुई और भारत की आज़ादी के बाद पहली ब्रिटिश सैन्य टुकडी 1947 को स्वदेश रवाना हुई।
कुसुम अग्रवाल प्रांतीय सह कोषाध्यक्ष ने अपनी अभिव्यक्ति में बलराम जयंती पर बलराम भगवान की कहानी सुनाई। उन्होंने बलराम रेवती के विवाह के बारे में विस्तृत जानकारी देते हुए बताया कि रेवती जी मनु की पुत्री थी और उन्होंने बलशाली वर की कामना करते हुए युगो तक ब्रह्मा जी की तपस्या की व बलराम से द्वापर युग में विवाह हुआ।
डिंपल अग्रवाल अध्यक्ष सरिया इकाई ने अपनी अभिव्यक्ति में हलषष्टी की पूजा विधि महात्म बताया।
तारा बेरीवाल रायगढ़ ने अपनी अभिव्यक्ति में बताया भारत के इतिहास में 17 अगस्त को घटित मुख्य घटनाओं पर प्रकाश डाला।
मधु मित्तल ने अपनी अभिव्यक्ति में बुधवार की पौराणिक कथा सुनाई।
भगवती अग्रवाल अध्यक्ष कोरबा इकाई ने अपनी अभिव्यक्ति में बताया चतुर्मास का महात्म।
शीतल लाठ प्रांतीय योग प्रभारी बिलासपुर इकाई की अध्यक्ष ने सभी अतिथियों को स्मृति चिन्ह भेंट कर आभार प्रदर्शन कर उनके उद्बोधन को ज्ञानवर्धक बताया।
उपमा अग्रवाल प्रांतीय संयोजक बेटी मेरी शान ने सभी अतिथियों और सदस्यों को उनकी उपस्तिथि अभिव्यक्ति और प्रस्तुति के लिए धन्यवाद ज्ञापित किया।
सुलोचना धनावत प्रचार प्रसार प्रभारी ने संपूर्ण विश्व कल्याण की भावना से कल्याण मंत्र द्वारा कार्यक्रम का विधिवत समापन किया।
कार्यक्रम में नंदिनी चौधरी, मीना गोयल, मीना मित्तल, राखी, रेखा, बिंदु, सरिता, पूनम, रजनी जिंदल, पूजा अग्रवाल, सबिता अग्रवाल, तारा बेरीवाल, सरला लोहिया, पार्बती अग्रवाल, सपना सराफ, उषा कलानोरिया, प्रतिमा गुप्ता, राजकुमारी गुप्ता, यशोदा गुप्ता, कीर्ति अग्रवाल, कुसुम अग्रवाल, पुष्पा अग्रवाल, मधु मित्तल, निशा गोयल, निमिषा गोयल, लक्ष्मी गोयल, लक्ष्मी अग्रवाल, पुष्पा रातेरिया, रजनी जिंदल, रजनी, किरण अग्रवाल, लक्ष्मी अग्रवाल, वंदना अग्रवाल, पूजा अग्रवाल, उपमा अग्रवाल, हेमलता बंसल, हेमलता मित्तल, शीतल लाठ, भगवती अग्रवाल, डिंपल अग्रवाल, सुलोचना धनावत ने अपनी अभिव्यक्ति और प्रस्तुति से कार्यक्रम को सफल बनाया।
