अंतरराष्ट्रीय अग्रवाल सम्मेलन महिला इकाई छत्तीसगढ़ प्रांत द्वारा 10 नवंबर बुधवार को गूगल मीट पर *विश्व परिवहन दिवस, शांति और विकास के लिए विश्व विज्ञान दिवस, छठ पर्व, राष्ट्रयोगी दत्तोपंत ठेंगड़ी निर्वाण दिवस* पर आयोजित किया गया ऑनलाइन कार्यक्रम

अंतरराष्ट्रीय अग्रवाल सम्मेलन महिला इकाई छत्तीसगढ़

प्रांत द्वारा विगत 8 माह से नित्य आयोजित ऑनलाइन कार्यक्रम की श्रृंखला में 10 नवंबर बुधवार को गूगल मीट पर *विश्व परिवहन दिवस, शांति और विकास के लिए विश्व विज्ञान दिवस, छठ पर्व,क्रांतिकारी कन्हैयालाल दत्त बलिदान दिवस, अमर हुतात्मा भाई मती दास, भाई सतिदास और भाई दयाला का धर्म की रक्षा हेतु बलिदान, राष्ट्रयोगी दत्तोपंत ठेंगड़ी निर्वाण दिवस* पर आयोजित किया गया ऑनलाइन कार्यक्रम।

कार्यक्रम की अध्यक्षता *डॉ अनीता अग्रवाल* ने कार्यक्रम का श्री गणेश छठ पर्व की पूजा अर्चना आराधना आरती से किया उन्होंने गणेश वंदना और मित्रों जी की स्तुति कर मंच के माध्यम से सभी बहनों को छठ पर्व की शुभकामनाएं प्रेषित की।उन्होंने छठ पूजा की विधि पर प्रकाश डाला।

*उमा बंसल* महासचिव कोरबा ने मंच संचालन करते हुए सभी अतिथियों सदस्यो का डिजिटल मंच पर रोली अक्षत का तिलक कर पुष्प गुच्छ भेंट कर स्वागत किया। मुख्य अतिथि का संक्षिप जीवन परिचय दे उन्हे उनके उद्बोधन के लिए मंच पर आमंत्रित किया।

कार्यक्रम की मुख्य अतिथि *नंदिनी चौधरी* सिंगापुर ने अपने उद्बोधन में *शांति और विकास के लिए विश्व विज्ञान दिवस* पर बताया यह एक अंतरराष्ट्रीय दिवस है जो समाज में विज्ञान की महत्वपूर्ण भूमिका पर प्रकाश डालता है और प्रत्येक वर्ष 10 नवंबर को मनाया जाता है। यह उभरते वैज्ञानिक मुद्दों पर बहस में व्यापक जनता को शामिल करने की आवश्यकता पर भी प्रकाश डालता है। *विश्व विज्ञान दिवस* 2001 में संयुक्त राष्ट्र शैक्षिक, वैज्ञानिक और सांस्कृतिक संगठन द्वारा घोषित किया गया था और 2002 में पहली बार मनाया गया था।

*पुष्पा अग्रवाल* ने अपनी अभिव्यक्ति में बताया *विश्व विज्ञान दिवस* का उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि नागरिकों को विज्ञान के विकास के बारे में सूचित किया जाए। यह उस उल्लेखनीय नाजुक ग्रह के बारे में हमारी समझ को व्यापक बनाने और हमारे समाजों को अधिक टिकाऊ बनाने में वैज्ञानिकों की भूमिका को भी रेखांकित करता है।शांतिपूर्ण और स्थायी समाज के लिए विज्ञान की भूमिका पर जन जागरूकता को मजबूत करना देशों के बीच साझा विज्ञान के लिए राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय एकजुटता को बढ़ावा देना समाज के लाभ के लिए विज्ञान के उपयोग के लिए राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय प्रतिबद्धता को नवीनीकृत करना विज्ञान के सामने आने वाली चुनौतियों की ओर ध्यान आकर्षित करना और वैज्ञानिक प्रयास के लिए समर्थन जुटाना है।

*गिरिजा अग्रवाल* ने अपनी अभिव्यक्ति में *परिवहन दिवस* पर बताया कई राज्यों में प्रदूषण के घटने-बढ़ने को लेकर चल रही तमाम चर्चा के बीच यह जान लेना दिलचस्प होगा कि भारत में 10 नवंबर को *परिवहन दिवस* के रूप में मनाया जाता है और साथ ही यूनेस्‍को द्वारा इस तारीख को संपूर्ण विश्व में ‘शांति एवं विकास हेतु विश्‍व विज्ञान दिवस’ के रूप में मनाने का चलन है। परिवहन दिवस के तौर पर इस दिन को मनाने की बात करें तो सड़क, रेल, वायु और जल परिवहन के विस्तार को जहां विकास से जोड़कर देखा जाता है, वहीं पर्यावरण पर इसके दुष्प्रभाव भी किसी से छिपे नहीं हैं। आज दुनियाभर के वैज्ञानिक पर्यावरण को स्वच्छ और इस दुनिया को रहने के लिए एक बेहतर स्थान बनाने का प्रयास कर रहे हैं।

*मधु अग्रवाल* ने अपनी अभिव्यक्ति में बताया राष्ट्रयोगी दत्तोपंत ठेंगड़ी का पून्य स्मरण जो हमको आज भी राह दिखा रहा है।वे बाल्यकाल से ही स्वतन्त्रता संग्राम में सक्रिय रहे। 1935 में वे ‘वानरसेना’ के आर्वी तालुका के अध्यक्ष थे। जब उनका सम्पर्क डा. हेडगेवार से हुआ, तो संघ के विचार उनके मन में गहराई से बैठ गये।2002 में राजग शासन द्वारा दिये जा रहे ‘पद्मभूषण’ अलंकरण को उन्होंने यह कहकर ठुकरा दिया कि जब तक संघ के संस्थापक पूज्य डा. हेडगेवार और श्री गुरुजी को ‘भारत रत्न’ नहीं मिलता, तब तक वे कोई अलंकरण स्वीकार नहीं करेंगे। मजदूर संघ का काम बढ़ने पर लोग प्रायः उनकी जय के नारे लगा देते थे। इस पर उन्होंने यह नियम बनवाया कि कार्यक्रमों में केवल भारत माता और भारतीय मजदूर संघ की ही जय बोली जाएगी।श्री ठेंगड़ी अनेक भाषाओं के ज्ञाता थे। उन्होंने हिन्दी में 28, अंग्रेजी में 12 तथा मराठी में तीन पुस्तकें लिखीं। इनमें लक्ष्य और कार्य, एकात्म मानवदर्शन, ध्येयपथ, बाबासाहब भीमराव अम्बेडकर, सप्तक्रम, हमारा अधिष्ठान, राष्ट्रीय श्रम दिवस, कम्युनिज्म अपनी ही कसौटी पर, संकेत रेखा, राष्ट्र, थर्ड वे आदि प्रमुख हैं।

*मीरा अग्रवाल* नेअपनी अभिव्यक्ति में बताया क्रांतिकारी कन्हैयालाल दत्त, अमर हुतात्मा भाई मती दास,भाई सतिदास और भाई दयाला का धर्म की रक्षा हेतु बलिदान दिया इनके बलिदान से हमे इंकेबटाए मार्ग पर चल राष्ट्र हित के लिए कार्य करने होगे।मंच से सभी को श्रद्धांजलि अर्पित की गई।

कार्यक्रम की वरिष्ट सदस्य *मुख्य वक्ता सुलोचना धनावत* ने अपनी अभिव्यक्ति में बताया कार्तिक मास में क्या क्या वर्जित है और क्या करने से पुण्य प्राप्ति होती है।

बरद्वार इकाई की *अध्यक्षा उषा कलानोरिया* ने अपने छत मैं के भजन प्रस्तुति से पूरा डिजिटल मंच भक्तिमय बना दिया।

सरिया इकाई की *अध्यक्षा डिंपल अग्रवाल* ने अपने अंदाज में श्याम भजन सुना सभी के अखंड सुहागन होने की प्रार्थना की।

*शीतल लाठ* ने जीवन में पैरो की कसरत का महत्व बताया कैसे उसकी देखभाल करने से आरोग्य की प्राप्ति होगी के बारे में सरल शब्दों में सभी को जागरूक करवाया।

कोरबा इकाई की *अध्यक्षा भगवती अग्रवाल* ने दीपावलीला का आयोजन कर मिलन से सामने से के महत्व के बारे में बताया।

अंबिकापुर इकाई की अध्यक्षा *श्रीमती प्रेम लता गोयल* ने आज के इतिहास की कुछ महत्वपूर्ण घटनाओं के बारे मे बताया।
1659 – शिवाजी ने प्रतापगढ़ किले के निकट अफजल खान को मार गिराया.
1698 – कलकत्ता को ईस्ट इंडिया कंपनी को बेच दिया गया.
1848 – भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के नेता सुरेन्द्रनाथ बनर्जी का जन्म.
1885 – गोटलिएब डेमलेर ने दुनिया की पहली मोटरसाइकिल पेश की.
1908 – कन्हाई लाल दत्त ने भारत की आज़ादी के लिए फाँसी के फंदे पर झूलकर शहादत दी.
1920 – राष्ट्रवादी ट्रेड यूनियन नेता एवं भारतीय मज़दूर संघ के संस्थापक दत्तोपन्त ठेंगडी का जन्म.
1983 – बिल गेट्स ने विंडोज 1.0 सार्वजनिक रूप से पेश किया.
1990 : चंद्रशेखर भारत के आठवें प्रधानमंत्री बने.
2000 – गंगा-मेकांग सम्पर्क परियोजना का कार्य प्रारम्भ. इसमें भारत, म्यामां, थाईलैण्ड, कम्बोडिया, लाओस और वियतनाम शामिल हैं.
2001 – भारत के तत्कालीन प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी ने संयुक्त राष्ट्र महासभा को संबोधित किया.
2006 – श्रीलंका में तमिल समर्थक सांसद एन रविराज की हत्या.
2008 – भारत-कतर सम्बन्धों को रणनीतिक गहराई देते हुए दोनों देशों ने मस्कट में रक्षा और सुरक्षा समझौते पर हस्ताक्षर किए.
2013 – राजस्थानी भाषा के प्रसिद्ध साहित्यकार विजयदान देथा का निधन.

अतिथियों को स्मृति चिह्न भेट कर सम्मानित किया गया और सभी की उपस्तिथि अभिव्यक्ति भजन प्रस्तुति के लिए आभार व्यक्त कर विश्व कल्याण की भावना से शांति पाठ द्वारा कार्यक्रम का विधिवत समापन किया गया।

मधु अग्रवाल, कुसुम अग्रवाल, गिरिजा गोयल, रेखा गर्ग,मीरा अग्रवाल, पुष्पा अग्रवाल,शीतल लाठ, उमा, उषा, डिंपल, भगवती, सुलोचना ने अपनी अपनी अभिव्यक्ति प्रस्तुति उपस्तिथि से कार्यक्रम को आनंदमय बना सफल किया।